स्वभाव
जातक स्वभाव से झगड़ालू, अपव्ययी एवं आलसी होता है। वह मित्रहीन एवम् बुद्धिहीन होता है। जातक गुप्त एवं रहस्य विज्ञान में रूचि रखता है।
पूर्ण दृष्टि
द्वादश भाव में स्थित सूर्य की दृष्टि छठवें स्थान पर होती है जिसके प्रभाव से जातक के शत्रुओं का विनाश होता है परंतु जातक के मित्रों से भी मधुर संबंध नहीं होते।

मित्र / शत्रु राशि
मित्र, स्व व उच्च राशि में द्वादश भाव का सूर्य जातक को धैर्य एवं सहन शक्ति प्रदान करता है। जातक को प्रतिष्ठा प्राप्त होती है। स्वतंत्र विचार वाला और धन कमाने के प्रति आकर्षित होता है।
भाव विशेष
द्वादश भाव में स्थित सूर्य का प्रभाव जन्म पत्रिका में प्रायः शुभकारी नहीं होता है । जातक अपने हाथों से अपनी हानि करता है। बायें नेत्र तथा मस्तक में रोग होता है। जातक आलसी एवं उदासीन होता है तथा निश्चिंत, लापरवाह, साहसी एवं लंबी यात्राएं करने वाला होता है।











