Vivaah Muhurat 2022-23 : विवाह मुहूर्त कीस दिन विवाह का शुभ दिन होगा !
Vivaah Muhurat 2022-23 shaadi ka muhurt
विवाह मुहूर्त देख रहे हैं तो आपको बता दें कि, हिंदू धर्म में कोई भी शुभ कार्य करने से पहले मुहूर्त देखा जाता है, जिससे कार्यों में किसी भी तरह का कोई विघ्न न आए। देवशयनी एकादशी से भगवान विष्णु चार माह के लिए योग निद्रा में चले जाते हैं, जिसके बाद सभी शुभ व मांगलिक कार्य बंद हो जाते हैं। भगवान विष्णु देवउठनी एकादशी के दिन योग निद्रा का त्याग करते हैं और विवाह आदि शुभ मांगलिक कार्य प्रारंभ हो जाते हैं। इस बार देवउठनी एकादशी 4 नवंबर दिन शुक्रवार को है। इस दिन से भगवान विष्णु कार्यभार संभालते हैं और फिर अगले दिन यानी 5 नवंबर को तुलसी विवाह किया जाएगा। आइए जानते हैं इस बार बन रहे शुभ विवाह मुहूर्त और शुभ तिथियां…
नवंबर से शुरू हो रहा है शादियों का सीजन नवंबर से शादियों का सीजन शुरू हो रहा है। इस बार शादियों के कम मुहूर्त होने की वजह से शादी के इंतजाम में मशक्कत करनी पड़ रही है। वहीं कोविड के कारण बीते दो साल में बहुत से लोगों ने शादियां टाली भी, ऐसे में इस बार खूब शहनाइयां बजने वाली हैं। हालांकि महंगाई की मार रौनक को कुछ फीका जरूर कर रही है। दो साल में शादियों का बजट 30 से 35 प्रतिशत बढ़ चुका है। हिंदू धर्म में शादियां देवउठनी एकादशी से शुरू हो जाती हैं। इस दिन शादी के लिए मुहूर्त निकलवाने की जरूरत नहीं रहती। इसे अनसूज साया या अबूझ साया भी कहा जाता है। इस दिन ऐसे लोग भी शादियां करवाते हैं, जिनकी शादियों में समस्याएं आ रही होती हैं।
उदक शांति पूजा, घर में शांति और सद्भाव के लिए की जाती है. ‘उदकशांती’ बद्दल समाजात विविध कल्पना, संकल्पना, समज, गैरसमज आणि रूढी ह्यांची मोठीच गल्लत झालेली दिसून येते. काही जण तर केवळ ‘उदकशांती’ हा शब्द कानावर पडला तरी अंगावर पाल पडल्याप्रमाणे दचकतात. ह्या सर्व प्रकारांमागे एकच कारण म्हणजे उदकशांतीविषयीचे अज्ञान व गैरसमज होय. तेव्हा…
खरंच तुमची पण कुंडली शापित आहे का? नावाप्रमाणेच “शापित” असणाऱ्या काही कुंडल्या असतात ज्यात कुठल्याच मार्गाने सुखाची अपेक्षा करता येत नाही. कधी कधी संपूर्ण कुंडली ग्रहस्थिती ठीकठाक असून एखादा ग्रह अशी काही स्थिती निर्माण करतो की त्यामुळे सर्व अशुभ परिणामांना प्रारंभ होतो. या जीव सृष्टीवर जगायचे म्हणजे मन काबूत असणे गरजेचे आहे. शांत आणि स्थिर…
सूर्य यंत्र Surya yantra सूर्य यंत्र ब्रह्माड में सूर्य ही सर्वोपरि ग्रह है जिसके इर्द गिर्द सभी सितारे ग्रह और नक्षत्र घूमते हैं। पृथ्वी के सभी जड़ और चेतन पदार्थों पर इसकी रश्मियों का प्रभाव पड़ता है मौसम, वनस्पति, मानव सभी सूर्य किरणों से प्रभावित होते हैं डॉक्टरों और वैज्ञानिकों की मान्यता है कि उगते…